07 March 2025

पीएफ की न्यूनतम पेंशन तीन हजार रुपये करने की तैयारी


कानपुर। केंद्रीय श्रम मंत्री मनसुख मांडविया की अध्यक्षता में दिल्ली में केंद्रीय महासंघों की बैठक हुई। इसमें बीएमएस, इंटक समेत अन्य श्रमिक संगठनों के प्रतिनिधि शामिल हुए। बैठक में न्यूनतम पेंशन और आयुष्मान चिकित्सा लाभ पर चर्चा की गई। बताया गया कि पीएफ की न्यूनतम पेंशन 3000 रुपये करने की तैयारी है। केंद्र सरकार ने 11 साल पहले 2014 में न्यूनतम पेंशन 1000 रुपये की थी।



सरकार न्यूनतम पेंशन बढ़ाने की घोषणा जल्द कर सकती है। इसका शहर के करीब 50 हजार पेंशनरों


को लाभ मिलगा। श्रमिक संगठन लंबे समय से न्यूनतम पेंशन बढ़ाने की मांग कर रहे हैं। 60 साल के लोगों को आयुष्मान चिकित्सा का लाभ भी मिल सकेगा। अभी तक इसका लाभ 70 साल से अधिक उम्र के लोगों को मिल रहा है। इंटक के राष्ट्रीय महासचिव केके तिवारी ने बताया कि श्रमिक संघों ने न्यूनतम पेंशन पांच हजार करने का प्रस्ताव दिया गया था, लेकिन सरकार की ओर से कहा गया कि फंड की कमी


है और इसे 3000 रुपये किए जाने की तैयारी है। बताया कि बैठक सकारात्मक रही है।


उम्मीद जताई कि जल्द ही सरकार इसकी घोषणा कर देगी। बैठक में लेबर कोड में संशोधन के भी सुझाव दिए गए हैं। इस पर भी सकारात्मक रुख बताया गया। बैठक में बीएमएस के राष्ट्रीय अध्यक्ष हिरमन पांड्या, महासचिव रविंद्र हेमते, इंटक के सचिव राकेश मिश्रा, टीयूसीसी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हंसराज अकेला, महासचिव एसपी तिवारी, एनएफआईटीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष दीपक जयसवाल, ओंकार सिंह, चिंतामणि पाठक, बृजेश उपाध्याय, सुरेंद्रन, देवाशीष दत्ता आदि थे।