माध्यमिक स्कूलों में शैक्षिक पंचांग कागजों तक सीमित

 

यूपी बोर्ड के स्कूलों में न महीने के हिसाब से पाठ्यक्रम पूरा हुआ है न मासिक टेस्ट कराए गए हैं। रोज प्रार्थना सभा में बच्चों को अच्छे उपदेश दिए जा रहे न ही हफ्ते में दो दिन अधिकारियों ने निरीक्षण कर बच्चों से जीवन मूल्यों, करियर व अनुशासन पर संवाद किये। यह दिशा निर्देश माध्यमिक शिक्षा परिषद के शैक्षिक पंचांग में दिये गए हैं। इनका पालन इसी सत्र से स्कूलों को करना था, लेकिन यह पंचांग सिर्फ कागजों तक सीमित है। स्कूलों में इसका पालन नहीं हो रहा है।



लखनऊ में 56 राजकीय, 98 एडेड और वित्तविहीन समेत 754 यूपी बोर्ड के स्कूल संचालित हो रहे हैं। माध्यमिक शिक्षा परिषद के सचिव ने सीबीएसई, सीआईएससीई की तर्ज पर यूपी बोर्ड के स्कूलों में शैक्षिक पंचांग के अनुसार पढ़ाई व अन्य गतिविधियां कराए जाने के निर्देश जारी किये। पंचांग में 40 प्रकार के दिशा निर्देश हैं। 12 अप्रैल को जारी शैक्षिक पंचांग में समय पर पाठ्यक्रम पूरा करने,मासिक टेस्ट, प्रार्थना सभा, नए सत्र में नया सवेरा कार्यक्रम में अधिकारियों के निरीक्षण से लेकर प्री बोर्ड, छमाही व वार्षिक परीक्षाओं से लेकर अन्य गतिविधियां शामिल हैं। स्कूलों को नए सत्र से ही शैक्षिक पंचांग का पालन करना था। पांच माह पूरे हो गए, लेकिन स्कूलों में आदेश को अमल में नहीं लाया गया।


शैक्षिक पंचांग की ये हैं प्रमुख गतिविधियां


● प्रार्थना सभा में रोज शिक्षक और छात्र रोज सुविचार पेश करेंगे, एक पंजिका बननी थी।


● नये सत्र में नया सेवरा कार्यक्रम में हफ्ते में दिन शिक्षा अधिकारी प्रार्थना सभा में आकर छात्रों से संवाद करेंगे


● प्रत्येक छात्र का करियर गाइडेंस पोर्टल पंख पर पंजीकरण करना


● राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के तहत गतविधियां कराई जाएं


● पढ़ाई के साथ प्रैक्टिकल और प्रोजेक्ट कार्य कराएं


● हर माह निर्धारित पाठ्यक्रम पूरा कराएं


स्कूलों का निरीक्षण कर पड़ताल करायी जा रही है। खामियां मिलने पर स्कूलों को तत्काल निर्देशित किया जाता है। परख पोर्टल पर स्कूलों की ओर से अपलोड किये जाने वाले ब्योरे का ऑन लाइन सत्यापन किया जा रहा है।


राकेश कुमार, जिला विद्यालय निरीक्षक


अधिकारी पढ़ाई के अलावा प्रतियोगी परीक्षाओं में ड्यूटी से लेकर दूसरे काम करा रहे हैं। 500 से अधिक शिक्षकों की कमी है। शैक्षिक पंचांग तभी सफल है जब शिक्षकों से सिर्फ पढ़ाने का काम लिया जाए। सोहनलाल वर्मा, प्रदेश अध्यक्ष, उप्र. माध्यमिक शिक्षक संघ एकजुट