मुरादाबाद। राज्य कर्मचारी अपनी संपत्ति का ब्योरा देने में दिलचस्पी नहीं ले रहे हैं। शनिवार को मानव संपदा पोर्टल पर संपत्ति का ब्योरा अपलोड करने का आखिरी दिन है, लेकिन अभी तक छह हजार कर्मियों ने ही संपत्ति का ब्यूरो अपलोड किया है। ऐसे में करीब 12 हजार राज्यकर्मियों का वेतन रुकने के आसार हैं।
जिले में विभिन्न विभागों में करीब 18 हजार राज्य कर्मचारी तैनात हैं। इसमें परिषदीय शिक्षक भी शामिल हैं। उत्तर प्रदेश सरकारी कर्मचारी आचरण नियमावली के तहत राज्य के सभी अधिकारियों और कर्मचारियोंं को अब मानव संपदा पोर्टल पर अपनी चल अचल संपत्ति का ब्योरा देना है। नियमानुसार 31 दिसंबर 2023 तक की संपत्ति का ब्योरा इस साल जनवरी तक देना था, लेकिन अधिकांश कर्मचारियों ने ब्योरा नहीं दिया।
इसके बाद राज्य कर्मचारियोंं को 31 जुलाई तक संपत्त्ति का ब्योरा देने को कहा गया। इस बार भी कर्मचारियों ने ब्यूरो में दिलचस्पी नहीं दिखाई। अब 31 अगस्त तक संपत्ति का ब्योरा नहीं देने वाले कर्मचारियों का वेतन रोका जा सकता है। जिले में अभी भी बड़े विभागों के कर्मचारियों ने ब्योरा पोर्टल पर अपलोड नहीं किया गया। हालांकि, छोटे विभागों के कर्मचारियों ने संपत्ति का ब्योरा देने में तेजी दिखाई। करीब छह हजार कर्मचारियों के संपत्ति का ब्योरा पोर्टल पर अपलोड हो चुका है। करीब 12,000 राज्य कर्मचारियों का अभी भी ब्योरा अपलोड होना बाकी है।
परिषदीय शिक्षकों मेंं असमंजस की स्थिति
- मानव संपदा पोर्टल पर संपत्ति का ब्योरा देने को लेकर परिषदीय शिक्षकों में असमंजस की स्थिति है। उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ के वरिष्ठ उपाध्यक्ष राहुल शर्मा ने बताया कि शिक्षक इस दायरे में नहीं आते हैं। अगर शासनदेश होगा तो शिक्षक भी संपत्ति का ब्योरा पोर्टल पर अपलोड करेंगे।
मानव संपदा पोर्टल पर राज्य कर्मियों को 31 अगस्त तक अपनी संपत्ति का ब्योरा अपलोड करना है। विभागों से प्रमाणपत्र मांगे गए हैं। अभी तक छोटे विभागों के प्रमाणपत्र ही मिलेे हैं। बड़े विभागों के प्रमाणपत्र आने बाकी हैं। - रेनू बौद्ध, मुख्य कोषाधिकारी