लखीमपुर, । लोकसभा चुनाव निपट गया। चुनाव ड्यूटी से अनुपस्थित कर्मचारियों पर विभागीय अधिकारी अब कार्रवाई की तैयारी कर रहे हैं। वहीं खास बात यह है अफसरों की लापरवाही के चलते कई कर्मचारी ऐसे हैं जिनकी दो-दो जगह ड्यूटी लगा दी गई। इतना ही नहीं मार्च में सेवानिवृत्त हो चुके एक शिक्षक को पीठासीन अधिकारी बना दिया गया। बीआरसी से डाटा फीडिंग, बीईओ की मानीटरिंग और चुनाव ड्यूटी लगाने में की गई जल्दबाजी कर्मचारियों पर भारी पड़ रही है। दो जगह ड्यूटी लगी। एक जगह ड्यूटी की लेकिन दूसरी जगह अनुपस्थित होने के कारण अब स्पष्टीकरण लिए भटक रहे हैं।
लोकसभा चुनाव कराने को 12 मई को पोलिंग पार्टियां रवाना की गई। जिले में 2890 बूथों के सापेक्ष 3183 पोलिंग पार्टियां तैयार की गईं। 12 मई को बूथों पर चुनाव कराने के लिए चुनाव ड्यूटी आदेश जारी किए गए। कर्मचारियों को यह ड्यूटी आदेश राजापुर मंडी में ही रिसीव कराए गए। पोलिंग पार्टियां रवाना हो गईं, चुनाव निपट गया। अब उन कर्मचारियों की सूची तैयार की गई है जो 12 मई को चुनाव ड्यूटी आदेश रिसीव करने नहीं गए। चुनाव ड्यूटी आदेश न लेने वाले 59 पीठासीन, 51 मतदान अधिकारी प्रथम, 128 मतदान अधिकारी द्वितीय व 34 मतदान अधिकारी तृतीय शामिल हैं। इनकी सूची बनाकर अब दो दिन का वेतन रोकने की तैयारी चल रही है। बताया जाता है कि जब कार्रवाई के लिए इनकी सूची तैयार की गई तो पता चला कि इसमें मितौली ब्लॉक के उच्च प्राथमिक स्कूल कानाखेड़ा में तैनात शिक्षक बृजबिहारी का नाम है। वह 3 मार्च को सेवानिवृत्त हो चुके हैं। इसके अलावा नकहा के संविलियन स्कूल मझरा में तैनात रामलाल, यूपीएस बबुरी धौरहरा में तैनात सहायक शिक्षक कमलेश की डबल ड्यूटी लगी थी। जिम्मेदारों की लापरवाही के कारण अब यह कर्मचारी अपना स्पष्टीकरण लिए भटक रहे हैं।
59 पीठासीन में 33 बेसिक और 26 अन्य विभाग के
जो 59 पीठासीन अधिकारी चुनाव ड्यूटी रिसीव करने नहीं आए उनमें 33 बेसिक शिक्षा विभाग के हैं जबकि 26 अन्य विभागों के हैं। इनमें कार्यक्रम विभाग, अर्थ एवं संख्या विभाग, पीडब्ल्यूडी, वन विभाग व सिंचाई विभाग के हैं। इन सभी के खिलाफ कार्रवाई के लिए इनके विभागों को लिखा जा रहा है। फिलहाल चुनाव शांतिपूर्वक निपटने के बाद अब प्रशासन इनका दो दिन का वेतन काटने की तैयारी में है। जिससे आगे के चुनावों में यह लापरवाही न करें।