'‘ऐसी डिग्रियों का क्या करूं जो नौकरी नहीं दिला सकतीं'' सुसाइड नोट लिख की छात्र ने आत्महत्या

 

कन्नौज, । बेरोजगारी की हताशा जीने के हौसले पर भारी पड़ गई। शुक्रवार को एक बेरोजगार युवक अपने शैक्षिक दस्तावेज फूंक कर फांसी पर झूल गया। दिल्ली में प्राइवेट नौकरी करने वाले पिता के इस इकलौते पुत्र ने सुसाइड नोट में लिखा, ‘ऐसी डिग्रियों का क्या करूं जो नौकरी नहीं दिला सकतीं।’ परिजनों और दोस्तों का कहना है कि वह पुलिस भर्ती परीक्षा का पेपर लीक होने की खबर से काफी निराश था।



सदर कोतवाली क्षेत्र के भूड़पुरवा निवासी लक्ष्मण पाल के 28 वर्षीय बेटे बृजेश पाल ने बीएससी तक पढ़ाई की थी। प्रतियोगी परीक्षाओं में कई साल से प्रयास के बावजूद उसे सफलता नहीं मिल रही थी। चाचा घनश्याम के मुताबिक पिछले सप्ताह पुलिस भर्ती परीक्षा में भी वह शामिल हुआ। उसे उम्मीद थी कि इस बार उसका सेलेक्शन हो जाएगा लेकिन पेपर लीक होने की खबरों के बाद वह निराश हो गया था। गुरुवार रात बृजेश ने मां और बहन संगीता के साथ भोजन किया और अपने कमरे में चला गया। सुबह देर तक कमरा नहीं खुला तो मां ने जाकर देखा, बृजेश फांसी पर लटक चुका था। कमरे में एक सुसाइड नोट मिला, जिसमें लिखा था, ‘मैंने डिग्रियां जला दी हैं। ये किस काम की जब नौकरी नहीं दिला सकती हैं।’ बेटे का शव देख मां और बहन बदहवास हो गईं। पड़ोसियों ने पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने शव पोस्टमार्टम के लिए भेजा है। मां विलाप कर रही है कि बेटा ही सहारा था, पेपर लीक होने से वह बहुत परेशान था। सीओ सिटी कमलेश कुमार के मुताबिक आत्महत्या की सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची थी ’ कमरे में शव के पास ही सुसाइट नोट मिला है, जिसमें युवक ने बेरोजगारी का जिक्र किया है।