प्रयागराज। बोर्ड परीक्षा के मद्देनजर प्रधानाचार्यों और शिक्षकों के अवकाश पर अंकुश लगाया गया है। मुख्य चिकित्साधिकारी के प्रमाणपत्र के आधार पर ही चिकित्सकीय अवकाश मान्य होगा। 10वीं-12वीं की परीक्षा में अक्सर देखा गया है कि कुछ प्रधानाचार्य, अध्यापक, केंद्र व्यवस्थापक, कक्ष निरीक्षक का काम नहीं करना चाहते हैं और चिकित्सकीय अवकाश ले लेते है। इससे केंद्र व्यवस्थापक, कक्ष निरीक्षकों की नियुक्ति में कठिनाई का सामना करना पड़ता है।
बोर्ड सचिव दिब्यकांत शुक्ल ने सभी सीएमओ को पत्र लिखकर अनुरोध किया है कि यदि कोई प्रधानाचार्य या अध्यापक चिकित्सकीय अवकाश के लिए आवेदन करते हैं, तो संस्तुति से पहले परीक्षण कर लें कि अवकाश देना आवश्यक है या नहीं क्योंकि परीक्षा का कार्य अत्यन्त आवश्यक एवं समयबद्ध है।