लखनऊ। प्रदेश में कक्षा छह से आठ के विद्यार्थी नए सत्र 2024-25 से आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस, कोडिंग और डिजिटल लिट्रेसी की भी पढ़ाई करेंगे। राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एससीईआरटी) ने इसे लेकर तैयारी तेज कर दी है। इसके तहत हाल में संस्थान का एक दल आंध्र प्रदेश गया हुआ था। वहां उसने इससे जुड़ी जानकारी जुटाई है।
नई शिक्षा नीति (एनईपी-2020) को लेकर प्रदेश में काफी तेजी से कवायद चल रही है। इसी के तहत एससीईआरटी ने स्कूली शिक्षा में इसके समावेश को लेकर प्रक्रिया तेज कर दी है। एक तरफ प्रदेश की फाउंडेशन स्टेज की राज्य पाठ्यचर्या तैयार की है, वहीं नए सत्र से एनसीईआरटी का पाठ्यक्रम भी कक्षा एक-दो में लागू किया जा रहा है। इ विद्यार्थियों को इसकी जानकारी देने के साथ ही डिजिटल लिट्रेसी पर भी जोर दिया जाएगा। संस्थान इसके लिए हर जिले में चार-चार शिक्षकों को बतौर मास्टर ट्रेनर ट्रेनिंग भी दे रहा है। एससीईआरटी के संयुक्त शिक्षा निदेशक डॉ. पवन सचान ने बताया कि 19 से 21 जनवरी तक यूपी, उत्तराखंड, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश के राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद के निदेशकों के साथ शिक्षा में नवाचार को लेकर इंफोसिस की ओर से कार्यशाला का आयोजन किया गया था।
आंध्र प्रदेश के कुप्पम में एआई पर आयोजित इस अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन में स्कूली शिक्षा में इसके समावेश व विस्तार पर चर्चा हुई। उत्तर प्रदेश में इस विषय को लेकर पहले से ही तैयारी की जा रही है। इस कार्यशाला में मिले महत्वपूर्ण सुझावों को शामिल करते हुए जल्द ही हम इसे प्रभावी करेंगे