महिला सैनिकों को अफसरों के बराबर छुट्टियां

नई दिल्ली, । सशस्त्रत्त् बलों में महिला सैनिकों, नाविकों और वायु सैनिकों को मातृत्व, बाल देखभाल और बच्चा गोद लेने के अवकाश उनके समकक्ष अधिकारियों के समान मिलेंगे। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने अवकाश के नियमों के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है।



नियम जारी होने के साथ ही सेना में कार्यरत सभी महिलाओं को इस तरह की छुट्टियां दी जाएंगी। छुट्टी के नियम सब पर समान रूप से लागू होंगे चाहे वह अधिकारी हों या सामान्य रैंक की कर्मी। रक्षा मंत्रालय ने एक बयान जारी कर कहा कि यह निर्णय सशस्त्रत्त् बलों में सभी महिलाओं की समावेशी भागीदारी के रक्षामंत्री के दृष्टिकोण के अनुरूप है। छुट्टी के नियमों के विस्तार से सशस्त्रत्त् बलों से संबंधित महिला-विशिष्ट पारिवारिक और सामाजिक मुद्दों से निपटने में आसानी होगी। महिलाओं की कार्य स्थितियों में सुधार करेगा साथ ही उन्हें पेशेवर और पारिवारिक जीवन को बेहतर तरीके से संतुलित करने में मदद करेगा। सियाचिन से लेकर युद्धपोतों पर तैनात होने और आसमान पर हावी होने तक, भारतीय महिलाएं सशस्त्रत्त् बलों में लगभग हर क्षेत्र में बाधाओं को तोड़ रही हैं।


पहले क्या था नियम


अधिकारियों ने बताया कि इस समय महिला अधिकारियों को हर बच्चे के लिए 180 दिन का मातृत्व अवकाश मिलता है। यह नियम अधिकतम दो बच्चों पर लागू होता है। उन्होंने बताया कि महिला अधिकारियों को संपूर्ण सेवा कार्यकाल में 360 दिन का शिशु देखभाल अवकाश मिलता है। इसके लिए बच्चे की आयु 18 वर्ष से कम होनी चाहिए। उन्होंने बताया कि एक वर्ष से कम उम्र के बच्चे को गोद लेने की वैध तिथि के बाद 180 दिनों की दत्तक ग्रहण छुट्टी दी जाती है।