‘स्कूलों में शौचालय का मॉडल पेश करे केंद्र’: सुप्रीम कोर्ट

नई दिल्ली, सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को केंद्र से देशभर के सभी सरकारी, सहायता प्राप्त और आवासीय स्कूलों में छात्राओं के लिए उनकी संख्या के आधार पर शौचालय बनाने को ‘राष्ट्रीय आदर्श नियमावली’ तैयार करने का निर्देश दिया है।



कोर्ट ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को भी राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के मिशन संचालन समूह को उनके क्षेत्र में चल रहे सरकारी आवासीय व गैर आवासीय स्कूलों में छात्राओं के उचित अनुपात में शौचालयों की भी जानकारी देने को कहा है। पीठ ने साथ ही, केंद्र सरकार से कहा कि स्कूली छात्राओं को निशुल्क सेनेटरी नैपकिन बांटने में एकरूपता लानी चाहिए। पीठ ने केंद्र का पक्ष जानने के बाद यह निर्देश दिया।


इससे पहले, केंद्र की ओर से बताया गया कि ‘छात्राओं को मुफ्त में सेनेटरी नैपकिन बांटने के लिए राष्ट्रीय नीति का मसौदा तैयार किया गया है। पीठ ने इसके बाद सरकार को चार सप्ताह के भीतर नीति बनाने के लिए तैयार मसौदे पर लोगों की राय लेने को कहा है।


कांग्रेस नेता जया ठाकुर ने सुप्रीम कोर्ट में दाखिल अपनी याचिका में बताया है कि गरीब परिवारों की 11 से 18 वर्ष की लड़कियों को शिक्षा ग्रहण करने में दिक्कत हो रही है। लड़कियां को माहवारी से जुड़ी जानकारी का अभाव होने से भी दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है।