बलरामपुर,। परिषदीय स्कूलों में फर्जी अभिलेखों के सहारे नौकरी करने वालों पर पुलिस सिर्फ एफआईआर दर्ज कर के मामले को ठंडे बस्ते में डाल रखा है। जिले में फर्जी शिक्षकों की भरमार है। फर्जी तरीके से नियुक्ति लेने वाले 120 अध्यापकों के खिलाफ नगर कोतवाली में मुकदमा दर्ज होने के बाद से जांच आगे नहीं बढ़ सकी है।
जिले में 1575 प्राथमिक एवं 646 उच्च प्राथमिक के साथ कंपोजिट विद्यालय संचालित है। इन स्कूलों में लंबे समय से कार्यरत कई अध्यापक फर्जी अभिलेखों के सहारे नौकरी करके राजस्व को क्षति पहुंचा रहे हैं। बेसिक शिक्षा विभाग कुल 120 अध्यापकों के खिलाफ फर्जी अभिलेखों के सहारे नौकरी करने के मामले में प्राथमिकी दर्ज कराई है। जिले में विभिन्न शिक्षक भर्ती के तहत जिले की बुनियादी शिक्षा में शिक्षकों की अकाल तो खत्म हो गया लेकिन इसी की आड़ में तमाम लोग जालसाजी करके अध्यापक बन गए। मुकदमा लिखने के बाद भी पुलिस अभी तक किसी को गिरफ्तार नहीं कर सकी है।
9 माह पहले महानिदेशक स्कूल शिक्षा ने फर्जी शिक्षकों पर मुकदमा लिखाने के लिए निर्देश दिया था। जिसके बाद दो चरणों में एक बार 92 व एक बार 28 शिक्षकों पर मुकदमा दर्ज किया गया। मामले की विवेचना उप निरीक्षक कृष्णलय मिश्रा को दिया गया था। 9 माह बीतने के बाद भी अब तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है।