नई दिल्ली : छात्रों और खुद के फायदे को देखते हुए देश के ज्यादातर विश्वविद्यालय अब संयुक्त विश्वविद्यालय प्रवेश परीक्षा यानी सीयूईटी के जरिये ही दाखिला देने को तैयार हो रहे हैं। विश्वविद्यालयों के बीच सीयूईटी को लेकर धीरे-धीरे ही सही रुझान बढ़ रहा है। इस व्यवस्था को लागू करने के पहले साल ही केंद्रीय विश्वविद्यालयों के अलावा देश के करीब 50 अन्य विश्वविद्यालय इसके जरिये दाखिला देने जा रहे हैं। इनमें राज्य व डीम्ड विश्वविद्यालयों के साथ ही निजी विश्वविद्यालय भी शामिल हैं। देश में फिलहाल केंद्रीय विश्वविद्यालयों संख्या 45 से अधिक है, जिन्हें अनिवार्य रूप से सीयूईटी के जरिये दाखिला देना है।
सीयूईटी के प्रति बढ़ते रुझान से उत्साहित शिक्षा मंत्रलय और विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) ने अगले साल इस प्रवेश परीक्षा के जरिये दाखिला देने वाले विश्वविद्यालयों की संख्या में और भी ज्यादा बढ़ोत्तरी होने की उम्मीद जताई है। सूत्रों की मानें तो यूजीसी ने अगले साल देश के आधे से ज्यादा विश्वविद्यालयों को सीयूईटी से जोड़ने का लक्ष्य रखा है। इसके लिए राज्य सरकारों व विश्वविद्यालय प्रशासन के साथ लगातार बातचीत चल रही है। देश में अभी एक हजार से ज्यादा विश्वविद्यालय हैं। इनमें केंद्रीय विश्वविद्यालय, राज्य विश्वविद्यालय, डीम्ड विश्वविद्यालय और निजी विश्वविद्यालय शामिल है।
सीयूईटी छात्रों और विश्वविद्यालयों दोनों के ही हित में काफी अहम है। छात्रों को दाखिले के लिए अलग-अलग विश्वविद्यालयों में आवेदन और प्रवेश परीक्षाएं नहीं देनी होगी। उन्हें मेरिट के आधार पर पसंद के कोर्स और विश्वविद्यालय में दाखिला मिल जाएगा। इससे उन पर आर्थिक बोझ नहीं पड़ेगा, उनका समय भी बचेगा। दूसरी ओर विश्वविद्यालयों को प्रवेश परीक्षा के लिए अतिरिक्त मशक्कत नहीं करनी होगी। उन पर भी आर्थिक बोझ नहीं पड़ेगा।
’>>केंद्रीय विवि के अलावा लगभग 50 अन्य विश्वविद्यालय जुड़े
’>>अगले साल तक देश के आधे से ज्यादा विश्वविद्यालयों में मिलेगा प्रवेश
इस साल 100 विश्वविद्यालयों में सीयूईटी से ही प्रवेश
सीयूईटी के जरिए इस बार जिन सौ विश्वविद्यालयों में छात्रों को दाखिला मिलेगा, उनमें 45 से अधिक केंद्रीय विश्वविद्यालय, 12 राज्य विश्वविद्यालय, 10 डीम्ड विश्वविद्यालय और करीब 18 निजी विश्वविद्यालय शामिल हैं। राज्य विश्वविद्यालयों में मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश और केंद्र शासित प्रदेश दिल्ली व जम्मू-कश्मीर के विश्वविद्यालय शामिल हैं। नई शिक्षा नीति में सीयूईटी की सिफारिश की गई थी।