मैं मौके पर जांच करने गया था। शिक्षक राजेश यादव ने ग्रामीणों के साथ मिलकर अभद्रता की। मेरे कपड़े फाड़ दिए। गाड़ी पर भी पथराव किया। डीएम को मामले की जानकारी दी गई है।-कमल सिंह, बीएसए, मैनपुरी
राजेश यादव कर रहे हैं मनमानी
मैनपुरी। उधर इस मामले को लेकर शिक्षिका निशंका जैन, शिक्षक महेंद्र प्रताप सिंह का कहना है कि राजेश यादव ग्रामीणों की मदद से मनमानी कर रहे हैं। उनके बेहतर कार्यों के लिए सरकार ने उन्हें पुरस्कार दिए हैं। वह विद्यालय का माहौल बनाना चाहते हैं। लेकिन राजेश के साथ गांव के कुछ लोग मामला बिगाड़ रहे हैं।
शिक्षक संघ समाधान के लिए आगे आया
मैनपुरी। इस संबंध में सोमवार को प्राथमिक शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष प्रणवीर सिंह यादव ने अपनी टीम के साथ बीएसए से मुलाकात की और समस्या का समाधान कराने के लिए कहा। प्रणवीर का कहना है कि उच्चाधिकारी ही इस मसले का हल करा पाएंगे। दोनों ही पक्षों को उनके द्वारा समझाया गया है।
कंपोजिट स्कूल में शिक्षक राजेश यादव के समर्थन में ग्रामीण और स्कूली बच्चे देर रात तक स्कूल में ही धरना देते रहे। मामले की जानकारी पाकर एसडीएम घिरोर, तहसीलदार पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंच गए। एसडीएम के समझाने पर भी बच्चे और ग्रामीण घर जाने के लिए तैयार नहीं हुए तो एडीएम, सीओ भारी पुलिस बल के साथ पहुंच गए। पुलिस ने शिक्षक को जबरन ले जाने की कोशिश की तो पुलिसकर्मियों पर हल्का पथराव हुआ।
सोमवार की सुबह 11 बजे से शुरू हुए हाईवोल्टेज ड्रामे का अंत रात 10:30 बजे तक नहीं हो सका। कंपोजिट स्कूल में तैनात शिक्षक राजेश यादव और दूसरे शिक्षकों के बीच चल रही तनातनी इस कदर तूल पकड़ जाएगी, इसकी उम्मीद किसी को भी नहीं थी। बीएसए से हुई अभद्रता के बाद शिक्षक राजेश यादव और स्कूल के 30 से 40 बच्चे स्कूल के अंदर बने एक कक्ष में कैद हो गए। इस कक्ष में लगे लोहे के चैनल में ताले लगा लिए गए। जानकारी पाकर तहसीलदार अरुण कुमार के साथ एसडीएम मान सिंह पुंडीर पहुंचे और घंटों ग्रामीणों और बच्चों को समझाने की कोशिश की गई। लेकिन बात नहीं बनी। इसके बाद एडीएम रामजी मिश्रा सीओ कुरावली, सीओ सिटी तथा अन्य पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंच गए।
जबरन ले जाने पर उत्तेजित हो गए ग्रामीण : बातचीत के दौरान शिक्षक मौके पर ही अपना ट्रांसफर, बर्खास्तगी या फिर निलंबन का आदेश मांग रहा था। एडीएम ने बीएसए से बात की और खंड शिक्षा अधिकारी से शिक्षक के ट्रांसफर का लेटर मंगा लिया। शिक्षक को अग्रिम आदेशों तक ग्राम बम्होरी के स्कूल में जाने के लिए कहा गया। लेकिन जब आदेश पहुंचा तो शिक्षक ने आदेश लेने से इनकार कर दिया। इसके बाद पुलिस ने उसे जबरन ले जाने की कोशिश की तो बच्चों और ग्रामीणों ने हंगामा शुरू कर दिया।
8 शिक्षक भोगांव में हो चुके हैं सस्पेंड
जनपद के परिषदीय स्कूल में इस तरह का ये पहला मामला नहीं है। कुछ महीने पहले भोगांव के परिषदीय स्कूल में भी शिक्षकों के दो गुटों में भिड़ंत हुई थी। इसके बाद डीएम के निर्देश पर बीएसए कमल सिंह ने स्कूल के सभी 8 शिक्षकों को सस्पेंड कर दिया था। ये शिक्षक अभी भी सस्पेंड चल रहे हैं और इनकी विभागीय जांच भी हो रही है।